दिवंगत आशुतोष रंजन
प्रियरंजन सिन्हा
गढ़वा : झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के केंद्रीय समिति सदस्य धीरज दुबे ने गढ़वा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी पर जमकर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि विधायक को जनता की समस्याओं पर ध्यान देना चाहिए न कि जिला प्रशासन को भ्रमित करने और निशाना बनाने का प्रयास करना चाहिए। धीरज दुबे ने कहा कि भीषण गर्मी में विधानसभा की जनता के लिए समुचित बिजली और पानी जैसी बुनियादी व्यवस्थाओं को दुरुस्त रखने हेतु प्रयासरत रहना चाहिए। लेकिन विधायक इन मुद्दों पर गंभीर नहीं हैं। इसके बजाय वे आए दिन जिला प्रशासन के अधिकारियों को लेकर अनर्गल बयानबाज़ी कर रहे हैं। वह चाहते हैं कि जिला प्रशासन क़ानून और नियम से नहीं बल्कि उनके अनुरूप चलें तथा लूट- कमीशनखोरी में उनका साथ दें। यह कदापि संभव नहीं है।
उन्होंने आरोप लगाया कि विधायक अपनी ज़िम्मेदारियों से भाग रहे हैं और प्रशासन पर दोषारोपण कर जनता का ध्यान भटकाना चाहते हैं। “विधायक का कर्तव्य है कि वह जनता की आवाज़ उठाए और समस्याओं का समाधान करे। लेकिन यहां तो वे प्रशासन पर दोष मढ़ने तथा उनके ख़िलाफ़ अमर्यादित भाषा का प्रयोग करने में व्यस्त हैं। धीरज दुबे ने हाल ही में घटित दो दर्दनाक घटनाओं की ओर इशारा करते हुए बताया कि हरैया गांव में चार बच्चियों और उड़सुग्गी गांव में 4 बच्चों की डूबने से मौत हो गई। उन्होंने कहा कि इतने बड़े हादसों के बावजूद विधायक द्वारा पीड़ित परिवारों को कोई सहायता नहीं दी गई। “विधायक ने इन परिवारों के लिए एक शब्द सहानुभूति का नहीं कहा, बल्कि झूठे वादे और बयानबाज़ी में लगे रहे।” उन्होंने तीखा हमला करते हुए कहा कि विधायक को जनता ने बड़ी उम्मीदों से चुना है। लेकिन वे उन उम्मीदों पर खरा उतरने की बजाय केवल राजनीतिक नाटक करने में लगे हैं। “जिम्मेदारी से बचने के लिए दूसरों को दोष देना आसान होता है। लेकिन असली नेता वही होता है जो संकट में जनता के साथ खड़ा हो।” धीरज दुबे ने अंत में जिला प्रशासन से अपील की कि वह जनहित में निष्पक्ष और निर्भीक होकर कार्य करे और जनप्रतिनिधियों की राजनीति से प्रभावित न हों। साथ ही विधायक को नसीहत दी कि वे अपने कर्तव्यों को समझें और जनता के भरोसे को टूटने नहीं दें।