“आइये खुशियां बांटें” अभियान : कोटमा की परहिया बस्ती में पहुँची टीम

“आइये खुशियां बांटें” अभियान : कोटमा की परहिया बस्ती में पहुँची टीम

पूरी बस्ती के जरूरतमंदों को उपलब्ध कराए गए गर्म कपड़े



दिवंगत आशुतोष रंजन

प्रियरंजन सिन्हा
बिंदास न्यूज, गढ़वा


गढ़वा : सदर अनुमंडल स्तर पर सामाजिक सहयोग से चलाए जा रहे विशेष मानवीय पहल “आइये खुशियां बांटें” अभियान के तहत मेराल प्रखंड के दूरस्थ गांव कोटमा की आदिवासी परहिया बस्ती में पहुँचकर संबंधित टीम ने बच्चों से लेकर युवाओं और बुजुर्गजनों तक गर्म कपड़ों के माध्यम से मुस्कुराहटें पहुँचाने का प्रयास किया।

यह बस्ती जंगल और पहाड़ी से घिरी हुई है। जरूरतमंदों के बारे में सूचना मिलने पर टीम के लोग आवश्यक सामग्री के साथ उक्त गाँव पहुँचे। बस्ती में पहुँचते ही बच्चों, महिलाओं और बुजुर्गों के चेहरों पर उत्सुकता और प्रसन्नता साफ दिखाई दे रही थी।

अभियान के दौरान नन्हे-मुन्ने बच्चों को गर्म कपड़े, टोपी, मोजे जैसी सामग्री दी गई। युवाओं के लिए स्वेटर, जैकेट, हुडी और अन्य ऊनी कपड़े उपलब्ध कराये गये। वहीं बुजुर्गजनों और महिलाओं को कंबल, ऊनी वस्त्र आदि प्रदान किये गये। बच्चों ने खिलखिलाकर खुशी जाहिर की। कुछ ने तुरंत ही अपनी नई जैकेट पहनकर नाचना शुरु कर दिया। वहीं बुजुर्गों ने गर्म कपड़े पाकर वितरण टीम और दान दाताओं को दिल से आशीर्वाद दिया।

एसडीएम संजय कुमार ने बताया कि “आइये खुशियां बांटें” अभियान का उद्देश्य केवल वस्तुएँ देना नहीं। बल्कि समाज के उपेक्षित और दूरस्थ वर्गों तक संवेदना, सम्मान और मानवीय सहयोग की गर्माहट पहुँचाना है। यह पहल प्रशासन, सामाजिक संगठनों और आम नागरिकों की साझेदारी से और मजबूत बनती जा रही है।

अधिकारियों ने जानकारी दी कि यह अभियान 28 फरवरी तक प्रतिदिन चलाया जाएगा। जिसमें गढ़वा अनुमंडल के विभिन्न गांवों, टोले-बस्तियों, आदिवासी इलाकों और जरुरतमंद परिवारों तक गर्म कपड़ों के अलावा बच्चों के लिए पठन-पाठन की वस्तुएं एवं सामग्री भी पहुँचाई जाएगी।

एसडीएम संजय कुमार ने कहा कि सामूहिक प्रयास है कि ठंड के इस मौसम में कोई भी बच्चा, बुजुर्ग या परिवार असहाय महसूस न करे। समाज के लोगों का जुड़ते जाना एक नेक सामाजिक आंदोलन का रूप ले रहा है।

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Ashutosh Ranjan

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