गढ़वा से उसने की थी अपराध की शुरुआत


आशुतोष रंजन
गढ़वा

हलो…मैं छोटू बोल रहा हूं,क्या हालचाल है,तो सामने वाला बोलता की हां सब ठीक है,तब छोटू बोलता की अगर सब ठीक है तब ध्यान दीजिए,सामने वाला कहता की क्या ध्यान दें,तब उसे जवाब मिलता की फ़ोन पर ही बता दें या वहीं बढ़िया से समझाने आ जाएं,लेकिन सामने वाला तुरंत बोल पड़ता की नहीं नहीं यहां मत आइए मैं समझ गया,और फिर वो बोले गए पत्ते पर कहे गए फरमान का आदेश बजा देता,जी हां आपने अब तक के लिखे गए हिन्दी के एक एक शब्दों को पढ़ा,ऐसा हिन्दी बोलता था छोटू,इसीलिए हमने इस ख़ास ख़बर का शीर्षक दिया की उर्दू लाइब्रेरी पास मारा गया हिन्दी बोलने वाला कुख्यात अपराधी,कौन था वो अपराधी और कैसे दी गई घटना को अंजाम आइए आपको बताते हैं।

गढ़वा से उसने की थी अपराध की शुरुआत : – गढ़वा जिले के रंका अनुमंडल इलाक़े का रहने वाला नाम का छोटू कैसे एक बड़ा अपराधी बन गया पूरी कहानी अगले ख़बर में विस्तृत रूप से बताएंगे लेकिन इतना बता दें कि गढ़वा से अपराध की शुरुआत करने वाला छोटू देखते देखते एक बड़ा अपराधी ही नहीं बल्कि कुख्यात अपराधी सरगना बन गया था,छोटे से कहीं ज़्यादा बड़ी आपराधिक घटनाओं को अपने नाम दर्ज़ करा चुका छोटू एक दहशत भरा नाम हो गया था,उसके एक फोन से सामने वाला खौफ़ में हो जाया करता था,तभी तो वो कुछ ही समय में बड़ा और कुख्यात अपराधी सरगना बन गया था।

हिन्दी बोलने वाला कुख्यात अपराधी : – जरायम की दुनिया का एक जाना पहचाना नाम जिसके हिन्दी लहज़े वाले फोन कॉल से सामने वाला ठेठ बोलना भी भूल जाया करता था,वैसा कुख्यात अपराधी आज उर्दू लाइब्रेरी के पास मारा गया,जी हां हम बात छोटू रंगसाज की कर रहे हैं,जो आज पत्नी के साथ रांची स्थित उर्दू लाइब्रेरी पास ईद की खरीददारी करने आया था,उसी वक्त उसके आने के इंतज़ार में घात लगा कर बैठे कुछ हथियारबंद युवकों द्वारा उसे लक्ष्य कर गोली मारी गई,जहां एक ओर गोली चालन की घटना के बाद उस इलाके में अफरा तफरी मच गई तो वहीं दूसरी ओर उसे आनन फानन में इलाज़ वास्ते अस्पताल ले जाया गया जहां उसकी मौत हो गई,उधर घटना के बाद पुलिस द्वारा मामले की पड़ताल शुरू कर दी गई है।