ले कर योजना,आपकी सरकार देखिए एक बार फ़िर आई है आपके द्वार
आशुतोष रंजन
गढ़वा
जोहार कहते हुए मंत्री ने किया अपने संबोधन की शुरुआत,इस उमस भरी गर्मी में भी आपका इतनी बड़ी संख्या में आना इस बात की तस्दीक करता है की आपके दिल में हेमंत सोरेन कितना अंदर तक बसे हुए हैं,आप दिली सराहना के पात्र हैं,महत्वपूर्ण पहल का यह हमारा चौथा चरण है,आपके मुख्यमंत्री हर जगह आप तक पहुंच आपसे रूबरू हो रहे हैं,आपको बता रहे हैं की कैसे विपरीत परिस्थिति में भी उनके द्वारा राज्य हित में योजनाएं कार्यान्वित कराई जा रही हैं,साथ ही वो यह भी जानने की कोशिश कर रहे हैं की उनके द्वारा चलाई जा रही योजनाओं का लाभ आपको मिल रहा है की नहीं,आप याद कीजिए पुराने वक्त को जब इस राज्य में सत्तासीन हुई सरकार द्वारा आपके लिए क्या किया गया,आप बखूबी समझ और अहसास कर रहे हैं की किस दुर्दीनता में आप जीवन बसर किया करते थे,यहां के आदिवासी जिनके उद्धार के लिए इस राज्य का गठन हुआ था,पर आपके इस सरकार के सत्ता में आने से पहले उनका क्या हाल था,उनके बारे में कभी माकूल नहीं सोचा गया,इस राज्य के निर्माण का उद्देश्य अब भी अधूरा है,गुरुजी का सपना अब भी पूरा नहीं हुआ है,जिसे पूरा करने के लिए हमारी सरकार दिन रात दिली शिद्दत के साथ जुटी हुई है,आज जो विपक्ष में हैं कल को वही सबसे ज्यादा सत्ता में रहे,लेकिन उनके द्वारा ख़ुद में बदलाव किया गया लेकिन राज्य आज भी वहीं का वहीं है,कहा की ऊपर वाले के घर में देर है अंधेर नहीं तभी तो भ्रष्टाचारी सरकार को आप सबों ने उखाड़ फेंका और अपनी मानसिकता वाली सरकार को कुर्सी पर बैठाया,लेकिन आपके मुख्यमंत्री कुर्सी पर बैठ कर नहीं बल्कि तेज़ क़दम से आपके लिए लगातार चल रहे हैं,मुझे याद है की जब सरकार बनी तब सरकारी खजाना खाली था,लेकिन मुख्यमंत्री विचलित नहीं हुए,और मुख्यमंत्री सीना ठोक कर कहे की भले खजाना खाली है लेकिन आवाम से लिए गए हर वायदे हम पूरे करेंगे,और तब से ले कर आज तक आप देख रहे हैं की कैसे आपकी सरकार आपके लिए काम कर रही है,आपके मुख्यमंत्री कोरोना में जहां एक ओर जीवन बचाने का काम किया वहीं उनका जीवन भी संवार रहे हैं,देश के कई राज्यों से मजदूरों छात्रों को हवाई जहाज से लाने का काम किया,साथ ही केवल देश से ही नहीं बल्कि विदेशों से भी बुलाने का काम किया,गम के माहौल में लोगों के चेहरों पर खुशियां लाने का काम किया,उनके काम को देखते हुए मुख्यमंत्री को हावर्ड विश्वविद्यालय में संबोधन के लिए आमंत्रित किया गया,और उन्होंने व्याख्यान दिया,राज्य का जंगल कैसे बचे इसलिए बिरसा हरित क्रांति योजना की शुरुआत किया गया,अगर योजना गिनाने पर आएं तो समय कम है और मैं किनके सामने गिनाऊं आप सबकुछ से वाक़िफ हैं और अनवरत लाभान्वित हो रहे हैं,ज्यादा कुछ ना कहते हुए यह ख़ुद के लिए नहीं बल्कि आपकी और आपके लिए सरकार है,बस इतना ही कहना चाहूंगा की अब आपके सामने वक्त आ रहा है निर्णय लेने का,यानी विधानसभा का चुनाव आ रहा है,विचारना आपको है की आपके लिए कौन सी सरकार बढ़िया है,केवल चेहरा से नहीं बल्कि काम से अपने क्षेत्र का जनप्रतिनिधि और सरकार चुनिए,कहा की जब आप ईवीएम का बटन दबाने जायेंगे तो ज़रा दिल पर हाथ रख कर और पुराने दिनों को एक बार याद कर लीजिएगा,मुझे विश्वास है की आपकी उंगली सही जगह पर पहुंचेगी और आप उस बटन को दबाएंगे जिससे एक ऐसा प्रतिनिधि चुनेंगे जिसके द्वारा आपके अनगढ़ गढ़वा को गढ़ा जा रहा है,जिसके द्वारा आपके लिए अहले सुबह से देर रात तक चिंता किया जाता है,जिसके द्वारा अगले रोज़ सुबह होते ही आपके लिए आपके विकास के लिए जुट जाया जाता है,ऐसे में आप जात,पात और किसी भी तरह के बरगलाने वाली बातों को पूरी तरह दरकिनार करेंगे और एक बार फिर से बदहाली को दूर करने वाले प्रतिनिधि और सरकार को गढ़वा और राज्य को बेहतर तरीक़े से संवारने का मौक़ा देंगे,अंत में मंत्री द्वारा सबों को प्रणाम और सलाम कहते हुए कार्यक्रम में आने के लिए दिली आभार जताया गया।